Tune haq yaad dilaya muskurane ka,
Ab kaisa yeh shaunk hai tera apna chehra chupane ka...
Iss Doobte ko bacha laya tu kinaare pe,
Ab mujhe intezaar hai tere khud ke muskurane ko
तूने हक़ याद दिलाया मुझे मुस्कुराने का
अब कैसा यह शौंक है तेरा अपना ही चेहरा छुपाने का
इस डूबते को बचा लाया तू किनारे पे
अब मुझे इंतज़ार है तेरे खुद के मुस्कुराने का
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© 2015 Life Begins. Please DO NOT COPY
Ab kaisa yeh shaunk hai tera apna chehra chupane ka...
Iss Doobte ko bacha laya tu kinaare pe,
Ab mujhe intezaar hai tere khud ke muskurane ko
तूने हक़ याद दिलाया मुझे मुस्कुराने का
अब कैसा यह शौंक है तेरा अपना ही चेहरा छुपाने का
इस डूबते को बचा लाया तू किनारे पे
अब मुझे इंतज़ार है तेरे खुद के मुस्कुराने का
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Amen hope it happens soon
ReplyDeleteBikram's
Amen! Much needed!
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